07 August 2024: Vaidik Panchang and Daily Horoscope

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हर हर महादेव
वैदिक पंचांग (Vaidik Panchang)
दिनांक -07 अगस्त 2024
दिन – बुधवार
विक्रम संवत – 2081 (गुजरात-महाराष्ट्र अनुसार 2080)
शक संवत -1946
अयन – दक्षिणायन
ऋतु – वर्षा ॠतु
मास – श्रावण
पक्ष – शुक्ल
तिथि – तृतीया रात्रि 10:05 तक तत्पश्चात चतुर्थी
नक्षत्र – पूर्वाफाल्गुनी रात्रि 08:30 तक तत्पश्चात उत्तराफाल्गुनी
योग – परिघ सुबह 11 :42 तक तत्पश्चात शिव
राहुकाल – दोपहर 12:44 से दोपहर 02:22 तक
सूर्योदय -06:15
सूर्यास्त- 19:12
दिशाशूल – उत्तर दिशा मे
व्रत पर्व विवरण-हरियाली तृतीया
विशेष – तृतीया को पर्वल खाना शत्रुओं की वृद्धि करने वाला है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)

विशेष:- हरियाली तीज,स्वर्ण गौरी व्रत,मधुश्रवा तीज व्रत,झूला तीज,सुकृत तृतीया
हरियाली तीज विशेष

अखंड सौभाग्य के लिए महिलाएं गौर और गणेश की आराधना करेंगी। सावन मास में मनाए जाने वाले तीज को हरियाली तीज कहते हैं। हरियाली तीज सावन मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाई जाती है। इस बार हरियाली तीज पर शिव योग का शुभ संयोग बन रहा है। इसको लेकर अभी से महिलाओं ने तैयारी शुरू कर दी है। हरियाली तीज वैसे तो मुख्यत: मारवाड़ी समाज के लोग मनाते हैं लेकिन अब अन्य समाज में भी इस व्रत की परंपरा चल पड़ी है।

हरियाली तीज के दिन सुबह 11 बजकर 41 मिनट से लेकर अगले दिन तक शिव योग का निर्माण होगा।
मिट्टी की बनी शिव-पार्वती की प्रतिमा को पूजने की परंपरा
सुहागिन महिलाएं अपने पति की दीर्घायु के लिए शिव पार्वती की आराधना करती हैं। इस दिन हाथों में मेहंदी रचाना शुभ माना गया है। हरी चूड़ियां और हरे परिधान व सोलह शृंगार करके संध्या में मिट्टी से बने शिव पार्वती की पूजा करती हैं। माता पार्वती को शृंगार का सामान चुनरी, सिंदूर, चूड़ी, बिंदी आदि चढ़ाया जाता है जबकि महादेव को पंचामृत का भोग लगाकर अखंड सौभाग्य व सुखी दांपत्य जीवन की कामना की जाती है। एक दिन पूर्व छह अगस्त को नवविवाहितां सिंधारा पर्व मनाती हैं, जिसमें साथ अपनी नई नवेली बहुओं को सुहाग का सामान देती हैं, इसी सुहाग की सामग्री को लेकर अगले दिन सुहागिन तीज का व्रत करती हैं।

हरियाली तीज की व्रत कथा

भगवान शिव ने पार्वतीजी को उनके पूर्व जन्म के बारे में याद दिलाने के लिए यह सुनाई थी। हरियाली तीज व्रत कथा इस प्रकार है :
शिवजी कहते हैं- हे पार्वती! बहुत समय पहले तुमने हिमालय पर मुझे वर के रूप में पाने के लिए घोर तप किया था। इस दौरान तुमने अन्न-जल त्याग कर सूखे पत्ते चबाकर दिन व्यतीत किए थे। किसी भी मौसम की परवाह किए बिना तुमने निरंतर तप किया। तुम्हारी इस स्थिति को देखकर तुम्हारे पिता बहुत दुखी थे। ऐसी स्थिति में नारदजी तुम्हारे घर पधारे।
जब तुम्हारे पिता ने नारदजी से उनके आगमन का कारण पूछा, तो नारदजी बोले- ‘हे गिरिराज! मैं भगवान् विष्णु के भेजने पर यहां आया हूं। आपकी कन्या की घोर तपस्या से प्रसन्न होकर वह उससे विवाह करना चाहते हैं। इस बारे में मैं आपकी राय जानना चाहता हूं।’
नारदजी की बात सुनकर पर्वतराज अति प्रसन्नता के साथ बोले- हे नारदजी। यदि स्वयं भगवान विष्णु मेरी कन्या से विवाह करना चाहते हैं, तो इससे बड़ी कोई बात नहीं हो सकती। मैं इस विवाह के लिए तैयार हूं।’
फिर शिवजी पार्वतीजी से कहते हैं- ‘तुम्हारे पिता की स्वीकृति पाकर नारदजी, विष्णुजी के पास गए और यह शुभ समाचार सुनाया। लेकिन जब तुम्हें इस विवाह के बारे में पता चला तो तुम्हें बहुत दुख हुआ। तुम मुझे यानि कैलाशपति शिव को मन से अपना पति मान चुकी थी।तुमने अपने व्याकुल मन की बात अपनी सहेली को बताई। तुम्हारी सहेली से सुझाव दिया कि वह तुम्हें एक घनघोर वन में ले जाकर छुपा देगी और वहां रहकर तुम शिवजी को प्राप्त करने की साधना करना। इसके बाद तुम्हारे पिता तुम्हें घर में न पाकर बड़े चिंतित और दुखी हुए। वह सोचने लगे कि यदि विष्णुजी बारात लेकर आ गए और तुम घर पर ना मिली तो क्या होगा। उन्होंने तुम्हारी खोज में धरती-पाताल एक करवा दिए लेकिन तुम ना मिली।
तुम वन में एक गुफा के भीतर मेरी आराधना में लीन थी। भाद्रपद तृतीय शुक्ल को तुमने रेत से एक शिवलिंग का निर्माण कर मेरी आराधना की जिससे प्रसन्न होकर मैंने तुम्हारी मनोकामना पूर्ण की। इसके बाद तुमने अपने पिता से कहा कि ‘पिताजी, मैंने अपने जीवन का लंबा समय भगवान शिव की तपस्या में बिताया है और भगवान शिव ने मेरी तपस्या से प्रसन्न होकर मुझे स्वीकार भी कर लिया है। अब मैं आपके साथ एक ही शर्त पर चलूंगी कि आप मेरा विवाह भगवान शिव के साथ ही करेंगे।’ पर्वतराज ने तुम्हारी इच्छा स्वीकार कर ली और तुम्हें घर वापस ले गए। कुछ समय बाद उन्होंने पूरे विधि-विधान से हमारा विवाह किया।’
भगवान शिव ने इसके बाद कहा कि- ‘हे पार्वती! तृतीया को तुमने मेरी आराधना करके जो व्रत किया था, उसी के परिणाम स्वरूप हम दोनों का विवाह संभव हो सका। इस व्रत का महत्व यह है कि मैं इस व्रत को पूर्ण निष्ठा से करने वाली प्रत्येक स्त्री को मनवांछित फल देता हूं। भगवान शिव ने पार्वती जी से कहा कि इस व्रत को जो भी स्त्री पूर्ण श्रद्धा से करेंगी उसे तुम्हारी तरह अचल सुहाग प्राप्त होगा।
नागपंचमी
श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को नागपंचमी का पर्व मनाया जाता है। इस बार ये पर्व 09 अगस्त, शुक्रवार को है। इस दिन नागों की पूजा करने का विधान है। हिंदू धर्म में नागों को भी देवता माना गया है। महाभारत आदि ग्रंथों में नागों की उत्पत्ति के बारे में बताया गया है। इनमें शेषनाग, वासुकि, तक्षक आदि प्रमुख हैं। नागपंचमी के अवसर पर हम आपको ग्रंथों में वर्णित प्रमुख नागों के बारे में बता रहे हैं-
वासुकि नाग
धर्म ग्रंथों में वासुकि को नागों का राजा बताया गया है। ये हैं भगवान शिव के गले में लिपटे रहते हैं। (कुछ ग्रंथों में महादेव के गले में निवास करने वाले नाग का नाम तक्षक भी बताया गया है)। ये महर्षि कश्यप व कद्रू की संतान हैं। इनकी पत्नी का नाम शतशीर्षा है। इनकी बुद्धि भगवान भक्ति में लगी रहती है। जब माता कद्रू ने नागों को सर्प यज्ञ में भस्म होने का श्राप दिया तब नाग जाति को बचाने के लिए वासुकि बहुत चिंतित हुए। तब एलापत्र नामक नाग ने इन्हें बताया कि आपकी बहन जरत्कारु से उत्पन्न पुत्र ही सर्प यज्ञ रोक पाएगा।
तब नागराज वासुकि ने अपनी बहन जरत्कारु का विवाह ऋषि जरत्कारु से करवा दिया। समय आने पर जरत्कारु ने आस्तीक नामक विद्वान पुत्र को जन्म दिया। आस्तीक ने ही प्रिय वचन कह कर राजा जनमेजय के सर्प यज्ञ को बंद करवाया था। धर्म ग्रंथों के अनुसार, समुद्र मंथन के समय नागराज वासुकि की नेती (रस्सी) बनाई गई थी। त्रिपुरदाह (इस युद्ध में भगवान शिव ने एक ही बाण से राक्षसों के तीन पुरों को नष्ट कर दिया था) के समय वासुकि शिव धनुष की डोर बने थे।
शेषनाग
शेषनाग का एक नाम अनंत भी है। शेषनाग ने जब देखा कि उनकी माता कद्रू व भाइयों ने मिलकर विनता (ऋषि कश्यप की एक और पत्नी) के साथ छल किया है तो उन्होंने अपनी मां और भाइयों का साथ छोड़कर गंधमादन पर्वत पर तपस्या करनी आरंभ की। उनकी तपस्या से प्रसन्न होकर ब्रह्मा ने उन्हें वरदान दिया कि तुम्हारी बुद्धि कभी धर्म से विचलित नहीं होगी।
ब्रह्मा ने शेषनाग को यह भी कहा कि यह पृथ्वी निरंतर हिलती-डुलती रहती है, अत: तुम इसे अपने फन पर इस प्रकार धारण करो कि यह स्थिर हो जाए। इस प्रकार शेषनाग ने संपूर्ण पृथ्वी को अपने फन पर धारण कर लिया। क्षीरसागर में भगवान विष्णु शेषनाग के आसन पर ही विराजित होते हैं। धर्म ग्रंथों के अनुसार, भगवान श्रीराम के छोटे भाई लक्ष्मण व श्रीकृष्ण के बड़े भाई बलराम शेषनाग के ही अवतार थे।
तक्षक नाग
धर्म ग्रंथों के अनुसार, तक्षक पातालवासी आठ नागों में से एक है। तक्षक के संदर्भ में महाभारत में वर्णन मिलता है। उसके अनुसार, श्रृंगी ऋषि के शाप के कारण तक्षक ने राजा परीक्षित को डसा था, जिससे उनकी मृत्यु हो गयी थी। तक्षक से बदला लेने के उद्देश्य से राजा परीक्षित के पुत्र जनमेजय ने सर्प यज्ञ किया था। इस यज्ञ में अनेक सर्प आ-आकर गिरने लगे। यह देखकर तक्षक देवराज इंद्र की शरण में गया।
जैसे ही ऋत्विजों (यज्ञ करने वाले ब्राह्मण) ने तक्षक का नाम लेकर यज्ञ में आहुति डाली, तक्षक देवलोक से यज्ञ कुंड में गिरने लगा। तभी आस्तिक ऋषि ने अपने मंत्रों से उन्हें आकाश में ही स्थिर कर दिया। उसी समय आस्तिक मुनि के कहने पर जनमेजय ने सर्प यज्ञ रोक दिया और तक्षक के प्राण बच गए।
शेष कल………
कैसे बनें विद्यार्थी मेधावी व महान ?
बच्चों में ज्ञानशक्ति की वृद्धि नहीं होगी तो खड़े-खड़े पानी पियेंगे, खड़े-खड़े खाना खायेंगे। इससे और अधिक बुद्धिनाश होता है । जो लड़कियाँ लड़कों से और लड़के लड़कियों से दोस्ती करते हैं, उनकी बुद्धिशक्ति, प्राणशक्ति दब्बू बन जाती है तथा स्वास्थ्य व बुद्धि की हानि होती है।

ज्ञानशक्ति विकसित करनी हो तो बुद्धि में दुराग्रह छोड़ो । बुद्धि में समत्व हो, शास्त्रसंबंधी विवेक हो और दुराग्रह न हो, भगवान के प्रति प्रीति का आग्रह हो । रात को सोते समय बुद्धि बुद्धिदाता में विश्रांति पाये, मैं परमात्मा में आराम कर रहा हूँ, ॐ ॐ प्रभुजी ॐ… सचेतन मन, अचेतन मन दोनों में यह ॐकार का सुमिरन करते-करते सो जाओगे तो बुद्धिशक्ति तो बढ़ेगी, बढ़ेगी… अनुमान शक्ति, क्षमाशक्ति भी बढ़ेगी।

ज्ञान की वृद्धि में सहायक आठ बातें

विद्या अध्ययन के समय आठ बातें ज्ञान की वृद्धि में सहायक हैं । पहली बात है, शांत रहना। इसके लिए ओऽऽ… म्ऽऽ… का १०-१५ मिनट प्लुत गुंजन करने का अभ्यास करो। शांत रहने से तुम्हारे में मननशक्ति, चिंतनशक्ति विकसित होगी।

दूसरी बात है, इन्द्रियों का संयम जो देखा, बस लपक पड़े, जो आया खा लिया, खड़े-खड़े खा लिया – पानी पी लिया, खड़े-खड़े पेशाब कर लिया… यह जरा-जरा-सी गलती पशुत्व, आसुरीपना ले आती है । इससे मति गति तामसी हो जाती है।

तीसरी बात है, बच्चे दुःखदायी दोषों से बचे रहें । दुःखदायी दोष हैं गंदी फिल्म देखना, गंदी सोहबत (संग) में आना, गंदे कर्म करना।

चौथी बात है, सदाचरण करे ।

पाँचवीं बात, ब्रह्मचर्य का पालन करे ।

छठी बात, आसक्ति न रखे ।

सातवीं बात, सत्य बोले ।

आठवीं बात है, सहनशक्ति बढ़ावे । माँ ने कुछ कह दिया तो कोई बात नहीं, माँ है न ! पिता ने या शिक्षक ने कुछ कह दिया तो रूठना नहीं चाहिए, मुँह सुजाना नहीं चाहिए ।

बाल्यकाल में किससे सावधान रहना चाहिए ?

दुष्टों के संग से, स्वार्थियों की अक्ल और होशियारी से, मूखों से अदूरदर्शन, थोड़ी-सी चोरी, थोड़ा-सा आलस्य, थोड़ा-सा ऐसा-वैसा स्वभाव, थोड़ा-सा यह चलेगा, जरा यह चलेगा, चल जायेगा- चल जायेगा – ऐसा करते-करते अपने सद्गुण छोड़ते जाते हैं और ‘दुर्गुण चल जायेगा’ ऐसा सोचते हैं तो इससे वह महादुर्गुणी हो जाता है ।

पाँच सावधानियाँ हैं :

(१) अभिमान न करे। पढ़ाई में, कबड्डी में, खेल में जीत गये तो अभिमान न आये ।

(२) किसी पर क्रोध न करे ।

(३) पाठ बाद में याद कर लेंगे’ इस प्रकार का प्रमाद न करे । इससे भी बच्चों का विकास होगा ।

(४) संयम रखे । बुरी नजर से लड़की लड़के को देखे, लड़का लड़की को देखे… इससे जीवनीशक्ति नाश होती है ।

(५) आलस्य न करे ।

यह भी विद्यार्थी जीवन में बहुत नुकसान करता है । जिस समय जो काम करना है, तत्परता से करो । लापरवाही से काम को बिगाड़ें नहीं तो अच्छे विद्यार्थी बनेंगे ।

बुद्धि के कितने नाम होते हैं ? मनीषा, धिषणा, धी, प्रज्ञा, शेमुषी, मति ये सारे नाम बुद्धि के हैं । इनका अलग-अलग प्रभाव होता है । उचित – अनुचित का निर्णय करना यह मति का काम है। धृति और बुद्धि दोनों इकट्ठी हो तो उसे बोलते हैं ‘मेधा’।

मेधावी का क्या अर्थ है ?

जिसमें अनुचित को छोड़ने का सामर्थ्य और उचित में डटे रहने का सामर्थ्य होता है, उसको ‘मेधावी’ बोलते हैं ।

विद्यार्थी जीवन में और व्यावहारिक जीवन में अपनी बुद्धि ठीक होनी चाहिए, मेधावी बनना चाहिए ।

पंचक

अगस्त में पंचक का आरंभ 19 अगस्त, सोमवार को शाम को 07 बजकर 01 मिनट पर हो रहा है। वहीं, इसका समापन 23 अगस्त, शुक्रवार को रात्रि 07 बजकर 58 मिनट पर होगा।
एकादशी

पवित्रा एकादशी (श्रावण शुक्ल) 16 अगस्त 2024

प्रदोष

17 अगस्त 2024, शनिवार शनि प्रदोष व्रत

जिनका आज जन्मदिन है उनको हार्दिक शुभकामनाएं बधाई और शुभ आशीष

दिनांक 7 को जन्मे व्यक्ति का मूलांक 7 होगा। यह अंक वरूण ग्रह से संचालित होता है। आप खुले दिल के व्यक्ति हैं। आपकी प्रवृत्ति जल की तरह होती है। जिस तरह जल अपनी राह स्वयं बना लेता है वैसे ही आप भी तमाम बाधाओं को पार कर अपनी मंजिल पाने में कामयाब होते हैं। किसी के मन की बात तुरंत समझने की आपमें दक्षता होती है। इस अंक से प्रभावित व्यक्ति अपने आप में कई विशेषता लिए होते हैं। आप पैनी नजर के होते हैं।

शुभ दिनांक : 7, 16, 25

शुभ अंक : 7, 16, 25, 34

शुभ वर्ष : 2023

ईष्टदेव : भगवान शिव तथा विष्णु

शुभ रंग : सफेद, पिंक, जामुनी, मेहरून

जन्मतिथि के अनुसार भविष्यफल :
नौकरीपेशा व्यक्तियों के लिए समय सुखकर रहेगा। नवीन कार्य-योजना शुरू करने से पहले केसर का लंबा तिलक लगाएं व मंदिर में पताका चढ़ाएं। आपके कार्य में तेजी का वातावरण रहेगा। आपको प्रत्येक कार्य में जुटकर ही सफलता मिलेगी। अधिकारी वर्ग का सहयोग मिलेगा। व्यापार-व्यवसाय की स्थिति उत्तम रहेगी

मेष दैनिक राशिफल (Aries Daily Horoscope)

आज का दिन आपके लिए कार्यक्षेत्र में कुछ नई योजनाओं पर काम करने के लिए रहेगा। आपको अपनी वाणी व व्यवहार में मिठास लानी होगी। विरोधी आपके कामों में रोड़ा अटकाएगें, जिन्हें आप अपनी चतुर बुद्धि से मात दे सकेंगे। आपका कोई पुराना काम यदि लंबे समय से रुका हुआ था, तो वह पूरा हो सकता है। माता-पिता की सेवा के लिए भी आप कुछ समय निकालेंगे। कार्यक्षेत्र में आपकी दी गई सलाह आपके बॉस के खूब काम आएगी, जिससे आपको प्रमोशन आदि मिलने की भी संभावना बनती दिख रही है।

वृषभ दैनिक राशिफल (Taurus Daily Horoscope)

आज का दिन आपके लिए आय को बढ़ाने वाला रहेगा। आपको किसी सरकारी काम को लेकर भागदौड़ करनी होगी, तभी वह पूरा हो सकता है। आपकी इनकम तो बढ़ेगी, लेकिन खर्च आपके लिए सिर दर्द बनेंगे, इसलिए आप अपने खर्चों को सोच समझकर करें और अपने भविष्य को लेकर कोई प्लानिंग करें। मार्केटिंग से जुड़े लोगों को कोई बड़ा ऑर्डर मिलने की संभावना है। आपके भाई को आपकी कोई बात बुरी लग सकती है, लेकिन फिर भी आप उनसे कुछ नहीं कहेंगे।

मिथुन दैनिक राशिफल (Gemini Daily Horoscope)

आज का दिन आपके लिए अच्छा रहने वाला है। आप अपने परिवार के सदस्यों के साथ कुछ समय मौज मस्ती करने में व्यतीत करेंगे। आप अपने पारिवारिक मामलों को आपस में बैठकर दूर करने की कोशिश करेंगे। यदि आपका कुछ धन डुबा हुआ था, तो उसके भी मिलने की पूरी संभावना है। आपको किसी मित्र की कोई बात बुरी लग सकती है। घूमने फिरने के दौरान आपको कोई महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त होगी। जीवनसाथी का सहयोग में सानिध्य आपको भरपूर मात्रा में मिलेगा।

कर्क दैनिक राशिफल (Cancer Daily Horoscope)

आज का दिन आपके लिए उन्नति की राह पर आगे बढ़ने के लिए रहेगा। नौकरी की तलाश कर रहे लोगों को कोई अच्छी कामयाबी मिल सकती है। अगर आप प्रॉपर्टी में निवेश करेंगे, तो वह भविष्य में आपके लिए अच्छा लाभ लेकर आएगी। आपको कुछ सरकारी योजनाओं का पूरा लाभ मिलेगा। आप अपने मनमाने व्यवहार के कारण परेशान रहेंगे। आप किसी बात को लेकर मित्र से सलाह मश्वरा भी कर सकते हैं। आप नौकरी के किसी काम को लेकर ट्रैवलिंग भी कर सकते हैं।

सिंह दैनिक राशिफल (Leo Daily Horoscope)

आज का दिन आपके लिए खर्चा भरा रहने वाला है। जीवनसाथी के स्वास्थ्य में कोई गिरावट आने से आपका मन परेशान रहेगा। काम की अधिकता रहने के कारण आप परेशान रहेंगे। वैवाहिक जीवन में भी समस्याएं बढ़ सकती हैं। आपको अपनी वाणी व व्यवहार पर नियंत्रण रखना होगा, नहीं तो बेवजह का लड़ाई झगड़ा होने की संभावना है। विद्यार्थी अपनी पढ़ाई पर फोकस थोड़ा कम कर पाएंगे, जिस कारण उनका कोई नुकसान भी हो सकता है।

कन्या दैनिक राशिफल (Virgo Daily Horoscope)

आज का दिन नौकरी में कार्यरत लोगों के लिए अच्छा रहने वाला है। आपको किसी दूर रहे परिजन से कोई शुभ सूचना सुनने को मिल सकती है। पारिवारिक रिश्तों में आपको तालमेल बनाकर चलने की आवश्यकता है और गृहस्थ जीवन में साथी की आपसे कुछ खटपट हो सकती है, इसलिए आप कोई ऐसी बात ना करें, जिससे कि कोई लड़ाई झगड़ा हो। आप अपने व्यापार की योजनाओं पर अच्छा खासा धन खर्च करेंगे। आपकी तरक्की की राह में आ रही बाधा दूर होगी।

तुला दैनिक राशिफल (Libra Daily Horoscope)

आज का दिन आपके लिए सुख व समृद्धि को बढ़ाने वाला रहेगा। आपको अपने आसपास रह रहे लोगों से सावधान रहना होगा, क्योंकि आपके मित्र के रूप में आपके कुछ शत्रु हो सकते हैं। आप अपनी सुख सुविधाओं पर पूरा ध्यान देंगे, जिन पर अच्छा खासा धन खर्च करेंगे। ससुराल पक्ष का कोई व्यक्ति आपसे मेल मिलाप करने आ सकता है। आपको अपने मित्रों का पूरा साथ मिलेगा और आपका कोई डूबा हुआ धन आपको मिल सकता है, जो आपको धन के मामलों में मजबूत बनाएगा।

वृश्चिक दैनिक राशिफल (Scorpio Daily Horoscope)

आज का दिन आपके लिए मिलाजुला रहने वाला है। आपकी सेहत कुछ नरम गरम रहेगी, लेकिन उसे लेकर आप परेशान रहेंगे। माता-पिता के आशीर्वाद से आपका कोई रुका हुआ काम पूरा होगा। घूमने फिरने के दौरान आपको कोई महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त होगी। आप परिवार के सदस्यों के साथ किसी मांगलिक उत्सव में सम्मिलित हो सकते हैं। आप किसी को धन उधार देने से बचें। यदि आपने किसी निवेश संबंधी योजना में धन लगाने का सोचा है, तो वह आपके लिए अच्छा रहेगा।

धनु दैनिक राशिफल (Sagittarius Daily Horoscope)

आज का दिन सामाजिक व राजनीतिक क्षेत्रों में कार्यरत लोगों के लिए अच्छा रहने वाला है। आपकी मेहनत बढ़ेगी, क्योंकि घर परिवार में आपके ऊपर जिम्मेदारी अधिक रहेगी। विद्यार्थियों को अपने ज्ञान को बढ़ाने का मौका मिलेगा। आप किसी प्रतियोगिता में भाग ले सकते हैं। आर्थिक मामले में आपको कोई जोखिम उठाने से बचना होगा। परिवार में आप मौज मस्ती भरे पल व्यतीत करेंगे। कोई सहयोगी आपसे नाराज हो सकता है।

मकर दैनिक राशिफल (Capricorn Daily Horoscope)

आज का दिन आपके लिए भाग्य के दृष्टिकोण से अच्छा रहने वाला है। धार्मिक कार्यों में आपकी खूब रुचि रहेगी। संतान को नौकरी में प्रमोशन मिलने की संभावना है, जिससे आपकी प्रसन्नता होगी। आप अपने साथी को लेकर कहीं बाहर जा सकते हैं। जीवनसाथी के साथ आप सुखद समय व्यतीत करेंगे, जिससे आपको यदि कोई टेंशन चल रही थी, तो वह भी दूर होगी। आपके परिवार में किसी सदस्य के विवाह के बात पक्की हो सकती है, जिससे माहौल खुशनुमा रहेगा।

कुंभ दैनिक राशिफल (Aquarius Daily Horoscope)

आज का दिन व्यापार कर रहे लोगों के लिए मिलाजुला रहने वाला है। आपके कुछ विरोधी सतर्क रहेंगे, जिन्हें आप अपनी चतुर बुद्धि से आसानी से मात दे पाएंगे। आपको अपनी मेहनत से पीछे नहीं हटाना है और कोई काम आपका बनते बनते रह सकता है, जिससे आपका मन परेशान रहेगा। आप माताजी से किसी जरूरी काम को लेकर बातचीत कर सकते हैं। विद्यार्थियों को इधर-उधर समय व्यतीत करने से अच्छा है कि आप अपनी पढ़ाई पर फोकस बनाए, तभी वह परीक्षा में जीत हासिल कर सकेंगे।

मीन दैनिक राशिफल (Pisces Daily Horoscope)

आज का दिन आपके लिए लेनदेन के मामले में सोच समझकर कदम बढ़ाने के लिए रहेगा। जीवनसाथी का सहयोग व सानिध्य आपको भरपुर मात्रा में मिलेगा। संतान के करियर को लेकर आपको कोई चिंता सता सकती हैं। आपको कोई गुप्त जानकारी किसी बाहरी व्यक्ति के सामने उजागर करने से बचना होगा। आपको कुछ अजनबी लोगों से सावधान रहने की आवश्यकता है। यदि आप कहीं घूमने फिरने जाएंगे, तो उसमें आपका कोई कीमती सामान के चोरी होने की संभावना बन रही है।

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